युवा पत्रकारों के लिए एक और शानदार ख़बर. ख़बर है कि एनडीटीवी जल्दी ही अपना एक हिन्दी न्यूज़ पोर्टल लाँच करने वाला है. दुनिया भर में इंटरनेट के बढ़ते उपयोग को देखते हुए यह फ़ैसला लिया है. एनडीटीवी इस पोर्टल से पहले एक मोबाइल पोर्टल लाँच करेगी जिसका नाम एनडीटीवी एक्टिव होगा. कहा जा रहा है कि मध्य नवम्बर से यह चालू हो सकता है. जबकि हिन्दी न्यूज़ पोर्टल जिसका नाम एनडीटीवी ख़बर होगा, यह दो महीने बाद यानी अगले साल तक लाँच हो जाएगा. एनडीटीवी इसके अलावा लाइफ स्टाइल, बालीवुड और शिक्षा को लेकर भी कुछ वेब पोर्टल लाने पर कार्य कर रहा है.
आशीष महर्षि सतपुड़ा से लेकर रणथंभौर के जंगलों से बुरी खबर आ रही है। आखिर जिस बात का डर था, वही हुआ। इतिहास में पहली बार मानसून में भी बाघों के घरों में इंसान टूरिस्ट के रुप में दखल देंगे। ये सब सिर्फ ज्यादा से ज्यादा पैसे कमाने के लिए सरकारें कर रही हैं। मप्र से लेकर राजस्थान तक की भाजपा सरकार जंगलों से ज्यादा से ज्यादा कमाई करना चाहती है। इन्हें न तो जंगलों की चिंता है और न ही बाघ की। खबर है कि रणथंभौर के नेशनल पार्क को अब साल भर के लिए खोल दिया जाएगा। इसी तरह सतपुड़ा के जंगलों में स्थित मड़ई में मानसून में भी बफर जोन में टूरिस्ट जा सकेंगे। जब राजस्थान के ही सरिस्का से बाघों के पूरी तरह गायब होने की खबर आई थी तो तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह सरिस्का पहुंच गए थे। लेकिन क्या आपको याद है कि देश के वजीरेआजम मोदी या राजस्थान की मुखिया वसुंधरा या फिर मप्र के सीएम शिवराज ने कभी भी बाघों के लिए दो शब्द भी बोला हो? लेकिन उनकी सरकारें लगातार एक के बाद एक ऐसे फैसले करती जा रही हैं, जिससे बाघों के अस्तिव के सामने खतरा मंडरा रहा है। चूंकि सरकारें आंकड़ों की बाजीगरी में उ...
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राजीव
आप को दीपावली की शुभकामनाएं।